कुछ दिन पहले भारतीय जनता पार्टी के नेता और दिल्ली बीजेपी युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष वासु रूखड़ को उनके पद से हटाते हुए पार्टी ने बाहर का रास्ता दिखा दिया। कारण रहा कि वे पिछले कुछ दिनो से अपनी बेटी के अपहरण के मामले को लेकर सुर्खियों में थे। पुलिस ने स्पष्ट किया है कि अपनी बेटी के अपहरण को लेकर रूखड़ ने झूठी जानकारी दी थी। दिल्ली बीजेपी के कार्यकारी अध्यक्ष वीरेन्द्र सचदेवा ने दिल्ली बीजेपी युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष वासु रूखड़ को पद से हटाने और पार्टी से निष्काषिक पत्र जारी किया है। अब बच्ची के अपहरण को लेकर सामने आई बात की चर्चा करें तो पुलिस ने बताया है कि बच्ची का अपहरण नहीं हुआ था। पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक बल्कि दिल्ली बीजेपी युवा मोर्चा के अध्यक्ष वासु रूखड़ की पत्नी ने उसे बीच सड़कर पर छोड़ दिया था और पुलिस को रूखड़ की पत्नी ने ही फोन कर बच्ची के अपहरण संबंधी सूचना दी थी। इसके बाद लोकल पुलिस के अलावा जिले के स्पेशल स्टाफ को भी 45 दिन की बच्ची की तलाश में लगा दिया गया था।
देखने पर मामला सीधा लगता है कि पार्टी ने रूखड़ को इसलिए बाहर का रास्ता दिखाया क्योकि उन्होंने अपनी बेटी के अपहरण को लेकर गलत जानकारी दी थी। लेकिन इसके अलावा भी वासु रूखड़ को बाहर निकाले जाने का एक और एंगल सामने आ रहा है। आप चौक जाएंगे की ये क्या है ? तो सूत्रों के हवाले से मिली खबर के मुताबिक दिल्ली बीजेपी के कुछ नेता भी नहीं चाहते थे कि वासु रूखड़ दिल्ली बीजेपी युवा मौर्चा के अध्यक्ष बने रहें। इसलिए बहती गंगा में कुछ नेताओं ने एक तरह से वासु रूखड़ को निकालकर हाथ धो लिया। सूत्र की माने तो दिल्ली बीजेपी के कुछ नेताओं को वासु रूखड़ तब ही से खटक रहे थे जब से उन्होंने दिल्ली बीजेपी युवा मोर्च की कमान संभाली थी। सूत्रों की माने तो वासु रूखड़ को हटाने में सबसे बड़ा हाथ दिल्ली बीजेपी के ही एक नेता का बताया जा रहा है। इस नेता को दिल्ली बीजेपी में बड़ा ही महत्वपूर्ण विभाग मिले होने की बात भी सूत्रों ने दी है। सूत्र कहते हैं कि वासु रूखड़ को हटाना एक तरह से इस नेता के लिए एक मौका था जिसे इस नेताजी ने जाने नहीं दिया और मौके पर चौका मार ही दिया। दिल्ली पुलिस की बात एक तरफ है और सूत्रों की बात एक तरफ। दिल्ली पुलिस की बात कानून रूप से सही हो सकती है पर सूत्रों की माने तो इनसाइड स्टोरी कुछ और ही है। रुखड़ पर लगे आरोप जैसे इस भाजपा नेता के लिए मौका था जिसका इस नेता ने भरपूर फायदा उठाया।
सूत्रों की माने तो उन्होंने बिना देर लगाए दिल्ली बीजेपी युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष वासु रूखड़ को बाहर का रास्ता दिखाने में अपनी सारा दम लगा दिया। जैसा की परिणाम आपके सामने है बीजेपी ने रूखड़ को बाहर का रास्ता दिखा दिया है। आपको जरूर ये बात जानने की उत्सुकता हो रही होगी कि आखिर इस खेल का मास्टर कौन हैं ? लेकिन यहां दिल्ली बीजेपी के इस नेता का नाम तो सूत्रों ने न बताने की शर्त पर जानकारी मुहैया कराई है। इसलिए स्पष्ट रूर से रूखड़ को हटाने में सबसे बड़ा रोल निभाने वाले इस नेता का नाम नहीं बताया जा सकता। पर इतना जरूर कहा जा सकता है कि दिल्ली बीजेपी में बेहद ही अहम विभाग पर इस बीजेपी के नेता का कब्जा है। सूत्र तो साफ – साफ कहते हैं कि इस नेता ने अपनी पहुंच और धन बल का भी प्रयोग वासु रूखड़ को हटाने का काम किया। सूत्र कहते हैं कि ये नेता संसद तक अपनी पहुंच रखता है और जातिवाद का समर्थक और अपना दबदबा कायम करने में माहिर है। सूत्रों ने बताया कि बीजेपी के इस नेता को वासु रूखड़ की जाति से भी दिक्कत थी और सच उन्हें हटाने का यही कारण था।
दिल्ली बीजेपी में इस नेता की चलती है क्योकि इस नेता जी ने बड़ा ही मह्त्वपूर्ण विभाग अपने पास रखा हुआ है। विभाग भी इतना खास है कि इसके लिए सबको हां में हां भी मिलानी ही पड़ती है। बाप बड़ा ना भैया और सबसे बड़ा …… ? पर आकर जो रूक जाती है। बाहर के लोगों को दिल्ली प्रदेश बीजेपी में लाने का आरोप भी दिल्ली बीजेपी के इस नेता पर लगता ही रहता है। सूत्रों ने वासु रूखड़ को उनके पद से हटाने में जिस नेता ने अहम भूमिका निभाई है उसका नाम न बताने की शर्त पर ये जानकारी उपलब्ध कराई है। इसलिए यहां आपको उस नेता का नाम तो नहीं बताया जा सकता लेकिन इतना जरूर कहा जा सकता है कि ये नेता खास पद पर हैं. सूत्र कहते हैं कि आगे चलकर इस नेता की मंशा दिल्ली बीजेपी का प्रमुख और यहां तक की दिल्ली का सीएम बनने तक की है। आप अंदाजा लगा सकते हैं तो लगा लें, क्योकि स्पष्ठ रूप से नेताजी का नाम का खुलासा नहीं किया जा सकता है।