Friday, November 22, 2024
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Javed Akhtar : जावेद अख्तर की एल्कोहॉलिक से नॉनएल्कोहॉलिक बनने तक की कहानी, जानिए कैसे छूटी गीतकार की शराब की लत

Javed Akhtar: भारतीय दिग्गज गीतकार जावेद अख्तर (Javed Akhtar) अपने शायरी और गानों के अलावा अपने बेबाक अंदाज के लिए भी जाने जाते हैं। वो आए दिन किसी न किसी मुद्दे पर खुलकर अपनी राय रखते हैं और बेबाक बयान भी देते हैं। जावेद अख्तर सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहते हैं और वह अक्सर अलग-अलग मुद्दों पर अपनी राय साझा करते रहते हैं।

कई बार उन्हें अपनी राय के लिए आलोचनाओं का सामना भी करना पड़ता है। वहीं हाल ही में जावेद अख्तर ने एक इवेंट में शिरकत की थी। जहां उन्होंने अपनी लाइफ से जुड़ी एक बड़ी कहानी का खुलासा किया किया।

Javed Akhtar

एल्कोहॉलिक से कैसे नॉनएल्कोहॉलिक बनें जावेद

आपको बता दें कि जावेद अख्तर की बॉलीवुड में एंट्री के बाद से ही सिर्फ 25 साल की उम्र में ही उन्होंने वो नेम-फेम पाया जो उस जमाने में बड़े-बड़े एक्टर्स के पास भी नहीं था। जावेद उस जमाने में किसी बड़े एक्टर से भी ज्यादा फीस लेने के लिए जाने जाते हैं। लेकिन उन्हें भी अल्कोहल की लत लग गई। वहीं हाल ही में जावेद ने एक मीडिया इवेंट में शिरकत की थी।

जहां उन्होंने अपनी अल्कोहल की आदत और उसे छोड़ने के बारे में बातें बताईं जावेद अख्तर ने बताया था कि वो हर रोज एक बोतल अल्कोहल पी लेते थे और उन्हें हैंगओवर भी नहीं होता था। लेकिन जब वो 41 या 42 साल के हुए तो उन्होंने बहुत ही तार्किक तरीके से सोचा कि अगर ऐसे ही पीते रहे तो शायद 52-53 साल में ही उनकी जिंदगी खत्म हो जाएगी।

जावेद ने रैशनल होने का मतलब बताते हुए कहा कि आप कितनी बुद्धिमत्ता से किसी चीज के बारे में सोचते हैं। उन्होंने कहा, ‘मैंने सोचा कि क्या मैं लंबा जीना चाहता हूं या शराब पीना चाहता हूं। ‘उन्होंने अरबाज खान के साथ एक चैट शो में बताया था, ‘मैं शराब किसी दुख में नहीं पीता था, मुझे बस मजा आता था इसलिए पीता था। लेकिन मुझे जिंदा रहने और शराब पीने के बीच चुनऐना था, तो मैंने जिंदा रहने को तवज्जो दी।’

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शराब के कारण जीवन में हुई गलतियां

जावेद ने बताया कि वो इस जद्दोजहद में 2 साल तक रहे कि उन्हें शराब छोड़नी है। लेकिन इस बारे में वो किसी से कह नहीं पा रहे थे। अगर वो अपनी पत्नी शबाना आजमी से कहते तो वो तुरंत उनसे छोड़ने के लिए कहने लग जातीं और वो तुरंत छोडना भी नहीं चाह रहे थे। उन्होंने इस बारे में बताया था, ‘इसीलिए एक बार 31 जुलाई 1991 को मैंने पूरी बकार्डी की बोतल पी ली।

उसके बाद वो दिन है और आज का दिन मैंने शराब को हाथ नहीं लगाई। उसके बाद मुझे कोई समस्या भी नहीं हुई। और मेरा स्वास्थ्य भी अच्छा रहने लगा। 2 से 3 साल बाद मुझे सांस लेने में प्रॉब्लम हुई। तो मैंने सिगरेट भी छोड़ दी। ‘जैसा कि आप भी जानते ही हैं कि अल्कोहल पीने के तुरंत बाद इंसान कई बार ऐसी हरकतें कर जाता है जो शायद वो बिना नशे के न करे।

अमेरिका की सरकारी वेबसाइट नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के मुताबिक, शराब दिमाग के मार्ग में रुकावट पैदा करती है जिससे दिमाग के काम करने के तरीके पर प्रभाव पड़ता है जिससे व्यवहार बदल जाता है। और नशे की हालत में इंसान ठीक से सोच नहीं पाता है। यही बात जावेद अख्तर ने भी अपनी भाषा में बताई।

उन्होंने कहा कि ‘अगर मैंने शराब न पी होती तो शायद कभी गलतियां भी न करता। मैंने जो भी गलतियां कीं उसकी वजह शराब ही रही।’ उन्होंने कहा इससे इंसान की पर्सनल लाइफ पर भी असर पड़ता है। उन्होंने बताया कि बाद में उन्हें ये एहसास हुआ कि ये बेवकूफी है जो वो कर रहे हैं, इसमें कोई डिग्निटी या चार्म नहीं है।

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