Ban on BS-III And BS-IV vehicles in Delhi: दिल्ली में वायु प्रदूषण की समस्या विकराल होती जा रही है। इसी गंभीर स्थिति को देखते हुए केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण संस्था (CAQM) ने शुक्रवार, 15 नवंबर से ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) के तीसरे चरण यानी GRAP-3 को लागू कर दिया है। दिल्ली और आसपास के एनसीआर क्षेत्र जैसे गुरुग्राम, गाजियाबाद, फरीदाबाद और गौतमबुद्धनगर में भी यह उपाय लागू होंगे। इस चरण का उद्देश्य वायु प्रदूषण को नियंत्रण में लाने के लिए सख्त कदम उठाना है।
GRAP-3 के तहत लागू प्रतिबंध
GRAP-3 के तहत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) ‘गंभीर’ स्तर पर पहुँचने पर कई प्रकार के प्रतिबंध लगाए जाते हैं। इसका मुख्य उद्देश्य वाहनों से निकलने वाले प्रदूषक तत्वों को कम करना और अन्य प्रदूषण स्रोतों पर अंकुश लगाना है। इसके लिए दिल्ली-एनसीआर में वाहनों पर विशेष प्रतिबंध लगाए गए हैं:
- प्रदूषण फैलाने वाले निजी वाहन:
- जो लोग अभी भी BS-III पेट्रोल और BS-IV डीजल गाड़ियाँ चला रहे हैं, उन्हें शहर की सड़कों पर गाड़ी चलाने की अनुमति नहीं होगी। यह प्रतिबंध निजी और व्यवसायिक दोनों प्रकार के वाहनों पर लागू होगा।
- अगर कोई इन मानदंडों का उल्लंघन करता पाया गया, तो उस व्यक्ति पर 20,000 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा।
- ट्रक और व्यवसायिक वाहन:
- भारी ट्रक और अन्य व्यवसायिक वाहन जो प्रदूषण फैलाते हैं, उन्हें शहर की सीमा के अंदर प्रवेश की अनुमति नहीं होगी। इसका उद्देश्य ट्रैफिक को कम करना और प्रदूषण स्तर को नियंत्रित करना है।
- CNG और इलेक्ट्रिक वाहन:
- CNG और इलेक्ट्रिक वाहनों को इस चरण के दौरान किसी प्रकार का प्रतिबंध नहीं है। इसका कारण यह है कि ये वाहन न्यूनतम या नगण्य प्रदूषण फैलाते हैं और इनके उपयोग को बढ़ावा देने के लिए इन्हें अनुमति दी गई है।
GRAP-3 क्या है?
ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) एक ऐसा ढांचा है जो दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में प्रदूषण के स्तर के अनुसार विभिन्न चरणों में कार्यवाही की योजना प्रदान करता है। इसके तहत चार चरण होते हैं – ग्रैप-1, ग्रैप-2, ग्रैप-3, और ग्रैप-4। जब वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) ‘गंभीर’ श्रेणी में पहुंच जाता है, तब GRAP-3 लागू किया जाता है।
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इस योजना के तहत प्रदूषण के स्तर के आधार पर सरकार विभिन्न कदम उठाती है, जैसे सड़क निर्माण और खुदाई पर रोक, औद्योगिक इकाइयों में कमी, निर्माण कार्यों पर प्रतिबंध, और सड़कों पर नियमित पानी का छिड़काव। GRAP-3 का लक्ष्य है कि किसी भी प्रकार की गतिविधि जो प्रदूषण बढ़ाने का कारण बनती है, उसे नियंत्रित किया जाए।
वायु प्रदूषण और जनता की जिम्मेदारी
दिल्ली और एनसीआर में बढ़ते वायु प्रदूषण का मुख्य कारण है वाहनों का अत्यधिक उपयोग, निर्माण कार्य, पराली जलाने की घटनाएं, और उद्योगों से निकलने वाला धुआं। वायु प्रदूषण न केवल स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव डालता है बल्कि दीर्घकालिक रूप से सांस, फेफड़े, और हृदय रोग जैसी बीमारियों का कारण भी बन सकता है।
इसीलिए, सरकार के साथ-साथ नागरिकों की भी जिम्मेदारी बनती है कि वे अपने दैनिक जीवन में ऐसे बदलाव लाएं जिससे प्रदूषण के स्तर में कमी लाई जा सके। उदाहरण के लिए, कार पूलिंग को अपनाना, सार्वजनिक परिवहन का अधिक से अधिक उपयोग करना, और CNG या इलेक्ट्रिक वाहनों का उपयोग करना, कुछ ऐसे कदम हैं जो प्रदूषण नियंत्रण में सहायक हो सकते हैं।