Vande Bharat Train: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज यानी शनिवार, 31 अगस्त 2024 को नई दिल्ली के भारत मंडपम में जिला न्यायपालिका के दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करेंगे। इस सम्मेलन का आयोजन सुप्रीम कोर्ट कर रहा है, जिसमें देश की न्यायिक व्यवस्था से जुड़े प्रमुख विषयों पर गहन विचार-विमर्श और चर्चा की जाएगी। प्रधानमंत्री मोदी इस मौके पर सुप्रीम कोर्ट की स्थापना के 75 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में एक स्मारक सिक्का और डाक टिकट भी जारी करेंगे। उद्घाटन समारोह में कानून और न्याय राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल, भारत के मुख्य न्यायाधीश, सर्वोच्च न्यायालय के अन्य न्यायाधीश, और अन्य गणमान्य लोग भी शामिल होंगे।
जिला न्यायपालिका के राष्ट्रीय सम्मेलन का उद्देश्य
इस सम्मेलन का उद्देश्य जिला न्यायपालिका को मजबूत और सशक्त बनाना है। न्यायपालिका किसी भी लोकतांत्रिक देश की रीढ़ होती है, और यह सम्मेलन इसी दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है। दो दिवसीय सम्मेलन में पांच कार्य सत्रों का आयोजन होगा, जिनमें न्यायपालिका से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। इसमें इन्फ्रास्ट्रक्चर और मानव संसाधन, न्यायिक सुरक्षा और कल्याण, समावेशी न्यायालय की स्थापना, मामला प्रबंधन, और न्यायिक प्रशिक्षण जैसे विषय शामिल होंगे। इन सत्रों का मुख्य उद्देश्य देश की जिला न्यायपालिका को बेहतर बनाने और इसे जनता के प्रति अधिक जवाबदेह और प्रभावी बनाने की दिशा में कदम उठाना है।
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सुप्रीम कोर्ट की स्थापना के 75 साल | 3 New Vande Bharat Train
सुप्रीम कोर्ट की स्थापना के 75 साल पूरे होने पर यह सम्मेलन विशेष महत्व रखता है। सुप्रीम कोर्ट ने इन वर्षों में देश की न्यायपालिका में एक महत्वपूर्ण स्थान हासिल किया है और इसने न्याय के क्षेत्र में कई मील के पत्थर स्थापित किए हैं। सुप्रीम कोर्ट का यह सम्मेलन इस यात्रा को सम्मानित करने और भविष्य में न्यायपालिका के सामने आने वाली चुनौतियों से निपटने के लिए नए दृष्टिकोण विकसित करने का एक प्रयास है। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू एक सितंबर को इस सम्मेलन के समापन समारोह में शामिल होंगी और सुप्रीम कोर्ट के ध्वज और प्रतीक चिन्ह का उद्घाटन भी करेंगी।
न्यायिक सुरक्षा और कल्याण
सम्मेलन में न्यायिक सुरक्षा और कल्याण के मुद्दों पर विशेष रूप से ध्यान दिया जाएगा। न्यायाधीशों की सुरक्षा और उनके कल्याण से जुड़े मामलों पर विचार-विमर्श किया जाएगा। न्यायपालिका की स्वतंत्रता बनाए रखने के लिए न्यायाधीशों की सुरक्षा महत्वपूर्ण है, और इस संदर्भ में उठाए जा रहे कदमों पर चर्चा की जाएगी। इसके अलावा, न्यायिक कल्याण के लिए विभिन्न पहलों पर भी चर्चा की जाएगी, जिससे न्यायाधीशों का कार्य वातावरण अधिक सुरक्षित और सुदृढ़ हो सके।
तीन नई वंदे भारत ट्रेनों की सौगात
सम्मेलन के साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ‘मेक इन इंडिया’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ के तहत तीन नई वंदे भारत ट्रेनों को हरी झंडी दिखाएंगे। ये ट्रेनें उत्तर प्रदेश, कर्नाटक और तमिलनाडु के बीच संचालित होंगी, जिससे इन राज्यों के लोगों को अत्याधुनिक और आरामदायक रेल यात्रा की सुविधा मिलेगी। वंदे भारत ट्रेनें भारत की पहली स्वदेशी रूप से डिजाइन और निर्मित सेमी-हाई स्पीड ट्रेनें हैं, जो यात्रियों को तेज गति और आरामदायक यात्रा का अनुभव प्रदान करती हैं।
वंदे भारत ट्रेनों के रूट और टाइमिंग
नई वंदे भारत ट्रेनों के शुरू होने से मेरठ-लखनऊ, मदुरै-बेंगलुरु, और चेन्नई-नागरकोइल के बीच यात्रा और अधिक सुगम हो जाएगी। मेरठ सिटी-लखनऊ वंदे भारत ट्रेन से यात्रियों का समय लगभग एक घंटा बचेगा, जबकि चेन्नई एग्मोर-नागरकोइल और मदुरै-बेंगलुरु वंदे भारत ट्रेनों के साथ यह समय दो घंटे से भी अधिक बचेगा।
दक्षिण रेलवे के मुताबिक, प्रधानमंत्री मोदी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से डॉ. एमजीआर चेन्नई सेंट्रल-नागरकोइल और मदुरै-बेंगलुरु वंदे भारत ट्रेनों को हरी झंडी दिखाएंगे। नागरकोइल तक चलने वाली वंदे भारत एक्सप्रेस की नियमित सेवा चेन्नई एग्मोर से होगी, जो सप्ताह के छह दिन संचालित की जाएगी। इसी तरह, मदुरै और बेंगलुरु छावनी के बीच वंदे भारत सेवा सप्ताह में छह दिन संचालित की जाएगी, जिससे इन रूट्स पर यात्रा और अधिक सुविधाजनक होगी।
वंदे भारत ट्रेनों का महत्व
वंदे भारत ट्रेनें भारतीय रेल के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हैं। ये ट्रेनें न केवल यात्री सेवा के मानकों को सुधारने में सहायक हैं, बल्कि यह ‘मेक इन इंडिया’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ जैसे अभियानों को भी बढ़ावा देती हैं। इन ट्रेनों की विशेषताओं में टकराव रोधी उपकरण ‘कवच’ का उपयोग, स्वचालित प्लग दरवाजे, और 160 किलोमीटर प्रति घंटे तक की सेमी-हाई स्पीड संचालन शामिल हैं। ये ट्रेनें यात्रियों को विश्व स्तरीय रेल यात्रा का अनुभव प्रदान करती हैं, जिससे नियमित यात्रियों, पेशेवरों, व्यापारियों, और छात्रों की आवश्यकताओं को पूरा किया जा सकता है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा उद्घाटित जिला न्यायपालिका का राष्ट्रीय सम्मेलन और तीन नई वंदे भारत ट्रेनों का शुभारंभ, भारत की न्यायपालिका और रेलवे व्यवस्था में महत्वपूर्ण मील के पत्थर हैं। जिला न्यायपालिका के सम्मेलन के माध्यम से न्यायिक प्रणाली को और अधिक सुदृढ़ बनाने का प्रयास किया जाएगा, जबकि नई वंदे भारत ट्रेनें यात्रियों को तेज गति और आरामदायक यात्रा की सुविधा प्रदान करेंगी। इन दोनों पहलों से देश में न्याय और यात्रा सुविधाओं के क्षेत्र में नए मानक स्थापित होने की उम्मीद है, जिससे ‘नया भारत’ की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बढ़ाया जा सकेगा।