FICA के सर्वे में खुलासा, वनडे क्रिकेट का अस्तित्व खतरे में

oneday blog image

टेस्ट और वनडे मैच का इतिहास बहुत पुराना है। समय की मांग के अनुसार बाद में क्रिकेट में एक और फॉर्मेट को जोड़ा गया जिसे टी20 कहा जाता है। टेस्ट और वनडे जैसे लम्बे फॉर्मेट को लोग कम पसंद करने लगे हैं। अब तो टी10 की बात हो रही है जिसे इंटरनेशनल लेवल पर विभिन्न टीमों के साथ खेला जाएगा। यही कारण है कि अब टेस्ट और वनडे क्रिकेट के ऊपर चर्चाएं शुरू हो गई है। क्या वनडे क्रिकेट खत्म हो रहा है ? क्या वनडे वर्ल्ड कप का इतिहास धूमिल हो रहा है ? इस तरह के सवाल लोगों के मन में उठ रहें हैं। ऐसे में फीका का एक सर्वे आपको और परेशान कर सकता है।

Photo: Social Media

वनडे फॉर्मेट सबसे ज्यादा खतरे में

दरअसल, फिका यानी Federation of International Cricketer’s Association ने हाल ही में दुनिया के 400 खिलाड़ियों के बीच एक सर्वे किया। इसमें क्रिकेट के तमाम पहलुओं पर सवाल पूछे गए। जैसे टी20 क्रिकेट की लोकप्रियता बढ़ने से इसके बाकी दो फॉर्मेट पर क्या असर पड़ा है ? क्या वनडे और टेस्ट मैच के अस्तित्व पर संकट है ? अगर हां तो वह कौन सा फॉर्मेट है जो ज्यादा खतरे में है ? वनडे क्रिकेट को लेकर ज्यादातर लोगों ने कहा कि वनडे फॉर्मेट सबसे ज्यादा खतरे में है।

Photo: Social Media

सचिन को 2009 में ही हो गई थी इसकी अनुभूति

सच्चाई ये है कि वनडे लगभग दो दशकों से दबाव में है। साल 2009 में ही सचिन तेंदुलकर ने महसूस किया था कि वनडे फॉर्मेट जिसने कई सालों से क्रिकेट की आमदनी और फैन्स की संख्या में वृद्धि कराई वह अपनी महत्वता खोता जा रहा है। तब तेंदुलकर ने तर्क दिया था कि वनडे प्रेडिक्टेबल हो गया है।
Photo: Social Media

आंकड़ों में देखा गया भारी बदलाव

फिका ने ऐसा ही सर्वे 2018-19 में भी किया था। सवाल ये था कि कितने खिलाड़ी वनडे वर्ल्ड कप को अब भी आईसीसी की टॉप चैंपियनशिप मानते हैं। जवाब में 86 प्रतिशत क्रिकेटरों ने अपना फेवर जताया। लेकिन यही सवाल जब 2022 में किया गया तो सिर्फ 54 प्रतिशत क्रिकेटरों ने ODI वर्ल्ड कप को आईसीसी का नंबर-1 इवेंट माना। यानी 46 फीसदी क्रिकेटरों के लिए अब ये इवेंट नंबर-1 नहीं रह गया है।

 

Exit mobile version